मंगलवार, 13 दिसंबर 2011

तुने माला भी घुमाई , तुने ज्योत भी जगाई: Tune Mala Bhi Gumaai By Sanjay Mehta Ludhiana










तुने माला भी घुमाई , तुने ज्योत भी जगाई
पर मन का ना मनका घुमाया तुमने,
सच्चे मन से कभी माँ को ना बुलाया तुमने

तू फसा रहा दुनिया के मायाजाल मे
कभी याद ना किया माँ को किसी हाल मे
तुने करी मनमानी , तेरी बीती जिंदगानी ,
माँ के चरणों मे सर ना झुकाया तुमने
सच्चे मन से कभी माँ को ना बुलाया तुमने

नाम मैया जी का संकटों को दूर करेगा
आजा रख विश्वास भव पार करेगा..
पहले दिल कर साफ़, मैया कर देगी माफ़
सदा मुश्किलों मे फसाया तुमने
सच्चे मन से कभी माँ को ना बुलाया तुमने

दीपक आस का जला के तू बुला ले एक बार
दोडी आएगी भवानी हो के शेर पे सवार
तुझ को होगा दीदार , कर ले माँ की जय जैकार
पर्दा दूरी वाला कभी ना हटाया तुने
सच्चे मन से कभी माँ को ना बुलाया तुमने






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