दर पे जाके मैया के मै शोर मचा दूँगी
जय जय माँ कह के सर पे गगन उठा लूंगी
सोये हुए भक्तो को नींद से उठा दूँगी
जय हो
आई हूँ मै दर पे तेरे पट मंदिर के खोल
नैनो में है सूरत तेरी श्रद्धा है अनमोल
भेंट गां के तेरी सारे भक्त नचा दूँगी
जय हो
गोद मेरी सुनी है माँ मै तो मन्नत मांगूगी
दे दे माँ एक लाल हलवा पूरी बांटुगी
मैया तेरे दर पे मै तो चुनरी चढ़ा दूँगी
जय हो
उच्चे तेरे मंदिर मैया झंडे झूले लाल
हाल मेरा भी सुन ले मैया कर दे मुझे निहाल
फूलो से मैया तेरा भवन सजा दूँगी
जय हो
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